
नित्यानन्द मण्डल
वीर शहिद कामेश्वर कुशेश्वर अमर रहुन् । ई नारा आश्विन १ गते क प्रायः स्कुलसभमे लगाओल जाइत छल । संयोग केहन, कतेक कष्टसाध्य शहादतक अनुभूति । बाबा विश्वकर्माक पुजनोत्सवक दिन सेहो । सृजन आ प्रसववीचक कडा संघर्ष । लगैए सायद बाबा विश्वकर्मा एहनेसन किछु पञ्चायत विरुद्ध लडबाक दु गोट प्रजातान्त्रिक योद्धा गढने रहथि जे आईके दिन वीरगति प्राप्त कएलनि । हुनके संस्मरणमे दु आखर लिखवासँ पहिने हुनका लोकनिप्रति कोटिशः नमन, हार्दिक श्रद्धासुमन अर्पण करैत छियनि ।
२०२९ सालमे सरकारद्वारा जारी कएल गेल शिक्षा नीति आ प्रजातन्त्र प्राप्तिक संघर्षमे धनुषाक यदुकोहामे ई दुनू गोटे विद्यार्थी कामेश्वर–कुशेश्वर प्राणक आहुति देने रहथि । प्रत्येक साल आश्विन १ गते प्रत्येक विद्यार्थी आ प्रजातान्त्रवादीसभक ठोर पर हुनका लोकनिक नाम उच्चारित होइत छल । हुनका लोकनिक संस्मरणमे एहिसँ पहिने प्रायः स्कुलसभमे विद्यार्थी लोकनि की त खिरकी माहे होई की केवारीक दोग द क होई अथवा कोनो ने कोनो बहन्ने कलाससँ बाहर भ क फिल्डमे की त कतौ औरहमे जा क हुनका लोकनिक स्मृतिमे १ मिनट मौन धारण आ किछु पञ्चायत विरुद्ध बहस होइत छल ।
हमरा अपनो सेहो स्मरण अछि जे जहिया हमरालोकनि विद्यार्थी रही तहिया कहियो हमर गामक सुरेन्द्र ठाकुर एहिवास्ते संगोर करैत छलाह । कार्यक्रमक आयोजन होइत छल । कहियो ललन चौधरी त कहियो युवराज खाती अवैत छलाह त कहियो राजकिशोर सिँह त कहियो प्रफुल्ल घिमिरे त कहियो अजय पौडेल । एम्हर प्रायःशिक्षक लोकनि आ हेडमास्टरक समर्थन सेहो रहबै करैत छल । मुदा हेडमास्टरके ठोरपर फोफरी परैत रहैत छलनि जे प्रधानपञ्च आ स्थानीय थानेदारक भय, दबाब आ त्रास मात्र नहि शिक्षा अधिकारीक स्पष्टीकरणक आंतकक सामना करय परैत छलनि ।
स्कुलमे होस्टलिया एक होइव, संगठन बनाएब, छुट्टी घण्टी लगादेब, विद्यार्थीसभ भागमभाग, एहि स्कुलसँ ओहि स्कुलक विद्यार्थीसभक मोर्चा बनाक लगपासक प्रहरी चौकी, प्रधानपञ्च आ मण्डलेके तकने घुरब । हुनकासभ पर कहियो साँकेतिक त कहियो गम्भीर प्रहार करब ।
एकबेर हमरा गाम स्कुलसँ सटले भैरव थान तर लम्बा चौरा,गोर भोभुक्का करिया किचोर दाह्रीबाला दु गोटे आएल छलाह, एहिक तयारीक लेल, किछुदिनक बादमे फेर महादेव मन्दिर पूरा बनलो ने रहए त कुरसी मात्र देल गेल रहए, ओहिपर आसन जम्मा क पञ्चायतक विरुद्धमे खूब विचारोतेजक भाषण कएने छलाह । ओ लोकनि छलाह विमलेन्द्र निधि जी आ स्मृति नारायण चौधरी ।
गामक चौक ओलार पर खूब शोर गोल होई जे आब पञ्चायतक दिन्ता खरा गेल छैक । माने प्रजातन्त्रप्राप्तिक लेल एहि तरहक स्कुलिँग स्कुलसँ गाम शहरधरि कएल जाइत छल । तहिया ने मोबाइल ने फोन, ने सामाजिक सञ्जाल, मात्र अहुजा कम्पनीक लाउडीस्पीकर,ताबाबाला माइक्रो फोन आ चिठ्ठीपत्री,छोटछिन पर्चा पम्प्लेटक भरोसे चलैत छल आन्दोलनक गतिविधि । हिनका लोकनिक विषयमे ने कतौ फोटो आ ने विशेषमे उल्लेख कएल गेल दस्ताबेज भेटब बड कठिन अछि ।
गणतन्त्र अएलाक बादो जँ सरकारे मोन अछि त गुगल किया ने मोन रहत । हरबारामे बनाओल गेल कामेश्वर मण्डलक शालिक जे टायर गाडी पर चढिक सुशिल कोईराला जी मालार्पण कर गेल छलाह से किछु फोटो सभ भेटैत अछि । दु पाँति चारि पाँतिक चर्चा भेटैत अछि । नाम सेहो केहन रिदम, केहन सोनिक ईफेक्ट छैक–कामेश्वर कुशेश्वर । हुनका लोकनिक नाम अवितेदेरी यदुकोहा आवि जाई छैक आ यदुकोहा अविते देरी आर किछु शहिद लोकनिक चर्चा नहि करी त अन्याय हएत ।
जे से २०४६ फागुन ९ गते धनुषाक यदुकोहामे तत्कालिन प्रहरी प्रशासनक गोली प्रहारसँ पहिल बेर महिलालोकनि सेहो सहिद भेलीह । जानकी देवी यादव, भुवनेश्वरी देवी यादव आ सोनावत्ती देवी यादव क क ३ गोटे महिलासभ, उदय शंकर मण्डल जे हमर बरकी मायके बहिनक जाउत रहै से आ रामनारायण यादव ५ गोटे एक्किहिबेर, एक्किहिठाम यदुकोहामे शहिद भेलाह । ओहिदिन हमर बरकी माय खुब कनैए, लोकके धैरजा नै रहै ।
एहिमे बहुत गोटे शिवधारी यादवजीक परिवारक सदस्य छलाह । आखिर जे जेना, पत्ता ने सहिद लोकनिक सपना सकार भेल की नँई से सभके अवगते अछि । देश कतए जा रहल छैक, समाज कतए जा रहल छैक देखिए रहल छियैक । तथापि सम्पूर्ण आन्दोलनसभमे सहादत प्राप्त कएनिहार तमाम सहिद लोकनिप्रति कोटि कोटि नमन हार्दिक श्रद्धासुमन अर्पण करैत छियनि ।